बैतूल की मंडी में बदहाली,किसान खुद कर रहे हैं मक्के की रखवाली
बैतूल। जिले में खरीफ की फसल की पैदावार बढ़ने से मंडी व्यवस्था बिगड़ गई है. यहां मक्का की बम्पर पैदावार होने से मंडी की ऐसी स्थिति बन गई है. बैतूल मंडी में रोज पच्चीस हजार से ज़्यादा बोरों की आवक हो रही है. जिससे हालात यह हो गई है कि मंडी में रास्तों पर जगह-जगह मक्का के ढे़र लगे हुए हैं.
मक्का को ट्रक ओर ट्रैक्टर कुचल रहे
जगह-जगह रास्तों पर मक्का के ढ़ेर लगे होने से रास्तों पर पड़ी मक्का को ट्रक ओर ट्रैक्टर कुचल रहे हैं, इससे किसानों को भारी नुकसान हो रहा है. मंडी में बोली लगने के बाद भी किसानों की फसल की दो- दो दिन तक तुलाई नहीं हो रही है, जिससे किसान अपनी फसल के लिए ठंड में खुले आसमान के नीचे जगने को मजबूर हो रहे हैं.
दो-दो दिन तक नहीं हो पा रही है तुलाई
किसान कहते है कि माल की आवक बढ़ने से दो-दो दिन तुलाई भी नहीं हो पा रही है, जिससे फसल खुले में पड़ी रहती है. लोकल किसान तो घर से खाना खाकर आ जाते हैं लेकिन बाहर से आए किसानों को खाने के लाले भी पड़ जाते हैं. कुछ किसान घर से खाना लेकर आते है तब कही जाकर खाना नसीब होता है.
किसानों ने अपना दर्द किया साझा
अपनी फसलों के पास 2 दिन से बैठे किसान बताते हैं कि मेरी मक्का की फसल कल बिक गई, लेकिन रात के आठ नौ बजे तक कांटा नहीं हुआ. बाद में हमने अधिकारियों से बात की लेकिन फिर भी कांटा नहीं हुआ. उन्होंने बतया कि तुलाई के लिए पैसा मांगते हैं, दस-बीस रुपये की बात हो तो हम दे भी दे लेकिन दो सौ, पांच सौ रुपये मांगते हैं.